भारत के रक्षा विनिर्माण में क्रांति लाती टाटा-एयरबस C-295 परियोजना
भारत के रक्षा क्षेत्र में निजी विनिर्माण की दिशा में एक बड़ी छलांग लेते हुए, टाटा-एयरबस C-295 परियोजना ने एक नई मिसाल कायम की है। यह परियोजना भारतीय वायु सेना के लिए 40 C-295 वजन के विमान बनाने के लिए है, जिसमें से 16 विमान स्पेन से उड़ान की अवस्था में आएंगे, जबकि बाकी 24 विमान टाटा एडवांस्ड सिस्टम्स लिमिटेड (TASL) द्वारा भारत में निर्मित किए जाएंगे।
इसका आर्थिक मूल्य लगभग ₹21,935 करोड़ है और इसमें TASL का 74% और एयरबस का 26% स्वामित्व है। यह परियोजना भारतीय उद्योग को वैश्विक मानकों तक पहुँचाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। इससे न केवल राष्ट्र को अत्याधुनिक एविएशन प्रौद्योगिकी प्राप्त होगी, बल्कि स्थानीय उद्योगों को भी सशक्त बनाया जाएगा।
'मेक इन इंडिया' पहल को संगठित करती नई दिशा
'मेक इन इंडिया' पहल का मुख्य उद्देश्य भारत को वैश्विक विनिर्माण केंद्र बनाना है और इस परियोजना से इस दिशा में ठोस कदम उठाए जाएंगे। 13,000 से अधिक कंपोनेंट्स का निर्माण भारत में ही होगा, जो की भारत के उद्योगों के लिए एक बड़ी उपलब्धि होगी। यह पहल 10,000 से अधिक रोजगार के अवसर पैदा करेगी, जिससे कई स्थानीय व्यवसाय और श्रमिकों को लाभ मिलेगा।
पर्यावरण अनुकूल और श्रमसंघ शक्ति का समायोजन, इस परियोजना की विशेषता होगी। यह उनत प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल करते हुए न केवल उत्पादन की गति तेज करेगी, बल्कि गुणवत्ता भी उन्नत करेगी, जिससे इसे एक दीर्घकालिक सफलता प्राप्त होगी।
सामरिक आवश्यकता और विमान की क्षमता
C-295 विमान की बहुउद्देश्यीय क्षमता इसे और भी खास बनाती है। यह विमान मेडिकल निकासी, सामरिक माल ढुलाई, और समुद्री निगरानी जैसी विविध भूमिकाओं में सक्षम है। इसके दो प्रैट और व्हिटनी PW127G इंजन इसे 23 टन के अधिकतम टेकऑफ वजन के साथ उर्जायुक्त करते हैं।
इसके अलावा, यह विमान तथा इसके उपकरणों को भारत के प्राकृतिक और सैन्यविक परिवेश के अनुसार बनाया गया है, जिससे इसे हरानुप्रासित परिस्थितियों में भी कार्यात्मक रखता है।
भविष्य के सहयोगों की परिकल्पना
हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) के पूर्व प्रबंध निदेशक सुधांशु मणि और HAL के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक आर. माधवन के विचारों के अनुसार, यह परियोजना सार्वजनिक और निजी क्षेत्रों के बीच भविष्य के सहयोग का एक 'अच्छा मॉडल' है। यह आने वाले समय में ज्यादा से ज्यादा नवाचार और सहयोग को प्रोत्साहित करेगी।
इसके अलावा, इस परियोजना का सफल क्रियान्वयन विभिन्न क्षेत्रों में प्रगतिशील सहयोग के लिए एक मजबूत आधार बनाएगा। इससे भविष्य में वैश्विक स्तर पर भारतीय रक्षा क्षेत्र की प्रतिष्ठा में भी वृद्धि होगी।
भारत में निजी रक्षा निर्माण क्षेत्र के लिए टाटा-एयरबस C-295 परियोजना एक नई अवधारणा की शुरुआत है, जो केवल भारतीय वायु सेना को ही नहीं, बल्कि पूरी भारतीय अर्थव्यवस्था को भी नवीन ऊर्जा प्रदान करेगी।
Annapurna Bhongir
अक्तूबर 29, 2024 AT 08:17MAYANK PRAKASH
अक्तूबर 29, 2024 AT 17:30Akash Mackwan
अक्तूबर 30, 2024 AT 04:16Amar Sirohi
अक्तूबर 30, 2024 AT 19:43Nagesh Yerunkar
अक्तूबर 31, 2024 AT 23:55Daxesh Patel
नवंबर 2, 2024 AT 17:46Jinky Palitang
नवंबर 3, 2024 AT 08:23Sandeep Kashyap
नवंबर 4, 2024 AT 09:34Aashna Chakravarty
नवंबर 5, 2024 AT 01:14Kashish Sheikh
नवंबर 5, 2024 AT 12:31dharani a
नवंबर 6, 2024 AT 00:13Vinaya Pillai
नवंबर 6, 2024 AT 18:33mahesh krishnan
नवंबर 6, 2024 AT 22:52Deepti Chadda
नवंबर 8, 2024 AT 17:02Anjali Sati
नवंबर 9, 2024 AT 03:48Preeti Bathla
नवंबर 10, 2024 AT 04:34Aayush ladha
नवंबर 10, 2024 AT 09:32Rahul Rock
नवंबर 12, 2024 AT 00:56PRATIKHYA SWAIN
नवंबर 12, 2024 AT 14:52Anindita Tripathy
नवंबर 14, 2024 AT 13:55