अबिषेक बनर्जी ने बजट 2024 पर अपने विचार रखे
तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के प्रमुख नेता अबिषेक बनर्जी ने केंद्रीय बजट 2024 को लेकर गंभीर आलोचना की है। उन्होंने बजट को 'जनविरोधी' करार दिया और कहा कि एनडीए सरकार का समय अब 'उधार का समय' है। बनर्जी ने बजट को असमाजिक और दिशाहीन बताया। उनका कहना है कि इस बजट का उद्देश्य केवल बीजेपी के गठबंधन साझेदारों को संतुष्ट करना है, खासकर बिहार और आंध्र प्रदेश में।
बजट में पारदर्शिता का अभाव
अबिषेक बनर्जी ने बजट के पारदर्शिता की कमी पर सवाल उठाते हुए कहा कि इसमें स्पष्टता का अभाव है। उन्होंने कहा कि बजट में कोई स्पष्ट दिशा और दृष्टि नहीं है। इसका मकसद केवल बीजेपी के सहयोगी दलों को खुश करना है, जबकि अन्य राज्यों, जैसे पश्चिम बंगाल, को नजरअंदाज किया गया है। बनर्जी ने आरोप लगाया कि यह जनता, गृहिणियों, दैनिक मजदूरों और किसानों के साथ 'धोखा' है।
महंगाई और बेरोजगारी पर सरकार को घेरा
बनर्जी ने महंगाई और बेरोजगारी की समस्याओं पर एनडीए सरकार को जमकर कोसा। उन्होंने कहा कि सरकार अपने चुनावी वादों को पूरा करने में विफल रही है। 'अच्छे दिन' का वादा केवल एक दिखावा साबित हुआ है। उन्होंने कहा कि बजट जनता के महत्वपूर्ण मुद्दों को हल करने में असमर्थ है और यह सभी क्षेत्रों में सरकार की विफलताओं को उजागर करता है।
'अहंकार और विभाजनकारी राजनीति का अस्वीकार'
टीएमसी नेता ने बजट को 'अहंकार, विभाजनकारी राजनीति और खाली वादों का स्पष्ट अस्वीकार' करार दिया। उन्होंने कहा कि यह बजट बीजेपी द्वारा किए गए वादों को तोड़ने का एक और उदाहरण है। बनर्जी के इन ताबड़तोड़ हमलों के बाद भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के नेताओं ने कड़ी प्रतिक्रिया दी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर की गई टिप्पणियों को 'असंसदीय' बताते हुए उन्हें हटाने की मांग की।
'संघीय ढांचे के विरोध में बजट'
अबिषेक बनर्जी ने आरोप लगाया कि बजट संघीय ढांचे के खिलाफ है और विभिन्न राज्यों को बराबरी से समर्पित नहीं करता। उन्होंने कहा कि यह बजट केंद्र की प्राथमिकताओं को दर्शाता है, न कि राज्यवासियों की जरूरतों को।
पश्चिम बंगाल को नजरअंदाज करने का आरोप
टीएमसी नेता ने विशेषरूप से पश्चिम बंगाल का उल्लेख किया और कहा कि राज्य के साथ भेदभाव किया गया है। उन्होंने आरोप लगाया कि विकास योजनाओं में पश्चिम बंगाल को पूरी तरह से उपेक्षित किया गया है। यह बजट केवल बीजेपी शासित राज्यों के हक में है।
किसानों और गृहिणियों की समस्याओं का उल्लेख
बनर्जी ने किसानों और गृहिणियों का मुद्दा उठाते हुए कहा कि यह बजट उनकी समस्याओं को सुलझाने में विफल रहा है। उन्होंने कहा कि बजट में दैनंदिन जरूरतों को पूरा करने संबंधी कोई ठोस योजना नहीं है।
एनडीए की कठोर प्रतिक्रिया
अबिषेक बनर्जी के इन बयानों के जवाब में एनडीए के नेताओं ने कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की। उन्होंने बनर्जी के वक्तव्यों को असंवेदनशील और असत्य कहा। बीजेपी नेताओं ने यह भी मांग की कि प्रधानमंत्री के खिलाफ किए गए आपत्तिजनक बयानों को सदन से हटाया जाए।
राजनीतिक संघर्ष की आग और भड़की
बनर्जी के इस तीखे बयान से यह स्पष्ट हो गया है कि आगामी चुनावों का माहौल गरमाने वाला है। एक ओर जहां टीएमसी और विपक्षी दल सरकार को घेरने का प्रयास कर रहे हैं, वहीं बीजेपी भी अपने नेताओं की गरिमा को बनाए रखने की कोशिश कर रही है। सभी की निगाहें अगले कदम पर हैं, जहां राजनीतिक गलियारों में संघर्ष और गहराएगा।